मुख्यमंत्री श्री भूपेंद्र पटेल ने गांधीनगर में इंटरनेशनल पीडियाट्रिक्स एसोसिएशन की 30वीं कांग्रेस और इंडियन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स की 60वीं वार्षिक बैठक का उद्घाटन किया।
मुख्यमंत्री ने स्पष्ट विचार व्यक्त किया कि गुजरात ने इस सम्मेलन के विषय को बच्चों के लिए समग्र स्वास्थ्य देखभाल दृष्टिकोण के माध्यम से ‘हर बच्चे के लिए गुणवत्ता देखभाल, हर जगह’ के विषय के साथ महसूस किया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सर्वसंतु निरामय के मंत्र को बच्चों को हमारी भावी पीढ़ी, उज्जवल कल के रूप में स्वस्थ रखकर जीने वाले बाल रोग विशेषज्ञ देवदूत हैं।
उन्होंने कहा कि गुजरात सरकार स्कूल स्वास्थ्य-राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के गहन कार्यान्वयन के माध्यम से हर साल डेढ़ करोड़ से अधिक बच्चों का मुफ्त स्वास्थ्य परीक्षण करती है। प्रदेश के 13 लाख हितग्राहियों को टीके की 36 लाख खुराक नि:शुल्क दी जा चुकी है।
श्री भूपेन्द्र पटेल ने कहा कि राज्य में शिशु मृत्यु दर 60 से घटकर प्रति हजार 25 हो गई है और कहा कि सरकारी अस्पतालों में प्रसूत नवजात शिशुओं एवं गर्भवती माताओं को सकुशल लाने के लिए खिलखिलाट वैन की संख्या भी 174 से बढ़ाकर 466 की गई है. घर।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्रभाई मोदी के मार्गदर्शन में संयुक्त राष्ट्र अहमदाबाद में देश का पहला उन्नत प्रौद्योगिकी बाल हृदय रोग अस्पताल बनाया गया है। मेहता
कॉम्प्लेक्स में काम करता रहा है। वह ओआरएस के आविष्कारक और बाल रोग विशेषज्ञों के गुरु हैं। दिलीप महालनोबिस के महत्वपूर्ण योगदान को याद किया गया।
इस सम्मेलन के उद्घाटन अवसर पर आईएपी अध्यक्ष-2023 डॉ. उपेंद्र कींजवाडेकर, आईपीए अध्यक्ष-निर्वाचित डॉ. नवीन ठाकर, आईपीए अध्यक्ष प्रो. एनवर हस्नोग्लू, आईएपी अध्यक्ष-2022 डॉ. रमेशकुमार, आईएपी अध्यक्ष-2024 डॉ. बी. वी बसवराज, स्वागत समिति के अध्यक्ष डॉ. राजू शाह और डॉ. उदय बोधनकर, आईपीए कांग्रेस के अध्यक्ष डॉ. बकुल पारेख, आयोजन सचिव डॉ. चेतन त्रिवेदी और डॉ. विनीत सक्सेना और देश-विदेश के बाल चिकित्सक उपस्थित थे।